जगतसिंहपुर जिले के पुरीजेना गांव में सीआरआरआई जैवउर्वरक मॉडल पर प्रशिक्षण सह प्रदर्शन कार्यक्रम आयोजित
जैवपोषक परियोजना के अंतर्गत ओडिशा के कृषक समुदाय के लिए सीआरआरआई जैवउर्वरक मॉडल पर प्रशिक्षण सह प्रदर्शन का आयोजन 31.01.2025 को जगतसिंहपुर जिले के पुरीजेना गांव में किया गया। डॉ. उपेंद्र कुमार इस विशेष परियोजना के प्रधान अन्वेषक हैं। इस विशेष परियोजना को ओडिशा सरकार के कृषि किसान कल्याण विभाग द्वारा वित्त पोषित किया गया है, जिसका उद्देश्य किसानों के बीच पर्यावरण के अनुकूल जैव उर्वरकों को लोकप्रिय बनाना है, ताकि हानिकारक रासायनिक उर्वरकों के प्रयोग को कम किया जा सके, जो पर्यावरण के लिए गंभीर खतरा पैदा करते हैं और धीरे-धीरे मिट्टी के स्वास्थ्य को खराब करते हैं। इस कार्यक्रम का समन्वयन भाकृअनुप-सीआरआरआई, कटक के प्रधान वैज्ञानिक डॉ. एनी पूनम और वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. दिव्येंदु चटर्जी ने किया। बाह्य संसाधन व्यक्ति डॉ देबासिस पंडा, केवीके-जगतसिंहपुर के वैज्ञानिक और श्री बंसीधर आचार्य, राज्य बीज निगम के वैज्ञानिक अधिकारी भी उपस्थित थे। डॉ एनी पूनम ने किसानों की आय में सुधार के लिए जैविक पोषक परियोजना और एकीकृत कृषि प्रणाली मॉडल पर जोर दिया। डॉ दिव्येंदु चटर्जी ने हानिकारक रासायनिक उर्वरकों को बदलने के लिए जैव उर्वरक, एंडो-एन का उपयोग करने के लाभों को समझाया। डॉ देबासिस पंडा ने सब्जी फसलों में जैव उर्वरक के रूप में ट्राइकोडर्मा के महत्व पर विस्तार से बताया और चावल और सब्जी की फसलों में कीट जाल के उपयोग का प्रदर्शन किया। परियोजना के अनुसंधान सहयोगी डॉ साई कृष्णा रेपल्ली ने किसानों को एनआरआरआई-टेक डीकंपोजर के लाभ के बारे में बताया और उसके बाद चावल पराली में व्यावहारिक प्रदर्शन किया। श्री अक्षय महाराणा, तकनीकी अधिकारी तथा परियोजना स्टाफ ने कार्यक्रम को संचालित किया, जिसमें कुल 78 किसानों ने भाग लिया और लाभ उठाया।
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