फसल उत्पादन प्रभाग
फसल उत्पादन प्रभाग मुख्य रूप से प्राकृतिक संसाधनों जैसे मृदा,जल, पोषक तत्व, श्रम आदि के प्रभावी और पर्यावरण के अनुकूल उपयोग पर प्रायोगिक, रणनीतिक और बुनियादी अनुसंधान कार्य करता है। यह प्रभाग चावल उत्पादन प्रणाली की स्थिरता, उत्पादकता और लाभप्रदता के लिए अजैविक और जैविक दबावों के प्रबंधन पर भी ध्यान केंद्रित करता है। चावल उत्पादन प्रणाली के विभिन्न विषयों जैसे शस्यविज्ञान, मृदा विज्ञान, सूक्ष्मजैवविज्ञान और कृषि इंजीनियरिंग के वैज्ञानिकगण संस्थान के अन्य प्रभागों के वैज्ञानिकों के सहयोग से अंतःविषयक अनुसंधान, प्रशिक्षण और विस्तार कार्यकलापों पर कार्य करते हैं। यह प्रभाग विभिन्न राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय सहयोगात्मक बाह्य वित्तपोषित अनुसंधान और विकासात्मक परियोजनाओं पर भी कार्य करता है। प्रभाग संसाधन उपयोग दक्षता को बढ़ाने पर विशेषकर चावल आधारित प्रणालियों में उत्पादन और उत्पादकता को बढ़ाने के लिए सूक्ष्मजैविक प्रौद्योगिकी की खोज, खरपतवार प्रबंधन, चावल एवं चावल आधारित प्रणालियों में संसाधन संरक्षण प्रौद्योगिकी, जल और पोषक तत्वों पर विशेष रूप से शोध कार्य करता है। यह प्रभाग लाभप्रदता को बढ़ाने और आजीविका को सुनिश्चित करने के लिए चावल आधारित खेती प्रणाली के डिजाइन, विकास और मूल्यांकन कार्य में भी शामिल है। छोटे किसानों के लिए कृषि मशीनरी का डिजाइन और विकास, मूल्य संवर्धन और फसल की कटाई के बाद की प्रौद्योगिकी, आदि भी इस प्रभाग के अनुसंधान का एक प्रमुख क्षेत्र है। जलवायु अनुकूल कृषि प्रौद्योगिकियां, ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन-शमन और पारिस्थितिकी तंत्र सेवा आकलन अब प्रभाग के अनुसंधान कार्यक्रम का एक अभिन्न अंग बन गया है। अब तक प्रभाग ने विभिन्न पारिस्थितिकी के लिए 40 से अधिक फसल उत्पादन प्रौद्योगिकियां और 25 से अधिक खेत मशीनरी विकसित की हैं जिसे मान्य किए गए हैं।